Lok Sabha Election 2024 Bihar: लोक सभा चुनाव में इस बार जितनी भीड़ पार्टी के नेताओं की रैली में नहीं दिख रही उससे कहीं ज्यादा भीड़ निर्दलीय उम्मीदवारों के रोड शो में दिख रहा है। ऐसा कहा जा रहा की इस बार निर्दलीय उम्मीदवारों का भी जलवा है। आज इस आर्टिकल में भी हम कुछ ऐसे ही निर्दलीय उम्मीदवारों की बात करेंगे जिन्होंने पार्टी के नेताओं की नींद उड़ा रखी है।
बिहार से ज्यादा नेता
अगर सिर्फ बिहार की बात करें तो बिहार में निर्दलीय प्रत्याशी की संख्या ज्यादा है चाहे वो पावरस्टार पवन सिंह हों, भूमिहार ब्राह्मण एकता मंच के आशुतोष कुमार, पूर्व सांसद पप्पू यादव हों, या गायक गुंजन सिंह। इसके अलावा भी कुछ प्रत्याशी ऐसे हैं जो हार जीत के अंतर को बढ़ा सकते हैं। इन नेताओं पर पूरे देश की नजरें टिकी है। ये अपने दम पर चुनाव लड़कर पार्टी की मुश्किलों को बढ़ा रहे हैं। क्या इस बार निर्दलीय प्रत्याशी कुछ प्रभावी साबित होंगे या नहीं?
पावरस्टार पवन सिंह
भाजपा का दामन थामने वाले पवन सिंह को पार्टी ने पश्चिम बंगाल के आसनसोल सीट से उम्मीदवार बनाया था । टिकट के एलान होने के तुरंत बाद ही पवन सिंह ने टिकट वापस कर दिया और अपने ट्विटर अकाउंट से ट्वीट कर एलान किया की को आसनसोल से चुनाव नहीं लड़ेंगे। लेकिन उन्होंने यह भी कहा की चुनाव तो वो हर हाल में लड़ेंगे।
इसके कुछ दिन बाद ही उन्होंने कहा कि वो काराकोट लोकसभा से चुनाव लड़ेंगे और बिना किसी सिंबल के चुनाव लड़ेंगे।यहां पवन सिंह की सीधी टक्कर राजग के उपेंद्र कुशवाहा से है। पवन सिंह की फैन फॉलोइंग काफी संख्या में है। अब बस ये देखना है क्या इस फैन फॉलोइंग को पावरस्टर वोट में बदल पाते हैं या नहीं। भोजपुरी इंडस्ट्री पर तो पवन सिंह ने सिक्का जमा रखा है अब देखना है काराकोट में क्या होता है।
पूर्व सांसद पप्पू यादव
लोक सभा चुनाव से कुछ दिन पहले ही अपनी पार्टी जन अधिकार पार्टी का कांग्रेस में विलय करने के बाद पप्पू यादव इस इंतजार में थे की पूर्णिया लोक सभा सीट से कांग्रेस उन्हें अपना उम्मीदवार बनाएगी। लेकिन लालू यादव ने इस सीट को राजद के कोटे में रखकर और वहां से बीमा भारती को टिकट देकर पप्पू यादव को एक बड़ा झटका दिया है। इसके बाद पप्पू यादव निर्दलीय मैदान में उतरे हैं। पप्पू यादव के समर्थक उन्हें मसीहा कहते हैं तो वहीं उनके विरोधी उनको माफिया कहते हैं। पप्पू यादव के सभा की भीड़ बताती है कि उनकी दीवानगी कितनी है।
कोरोना काल और बाढ़ के समय में पप्पू यादव ने तत्परता से जो लोगों को मदद किया था इससे उनकी एक अलग पहचान बनी है लोगों के बीच में। क्या पप्पू यादव पूर्णिया जीतकर सांसद पहुंच पाएंगे या नहीं? इसपे आपकी क्या राय आप हमें कमेंट बॉक्स में बता सकते हैं।
गायक गुंजन सिंह की
भोजपुरी गायक और अभिनेता गुंजन सिंह भी अपने क्षेत्र नवादा में पिछले कुछ दिनों से काफी सक्रिय नजर आ रहे थे। लोक सभा चुनाव से पहले वो कुछ पार्टी के नेताओं से भी मिले ताकि सिंबल मिले लेकिन कहीं भी बात नहीं बनी और वो भी निर्दलीय ही मैदान में कूद पड़े। यहां गुंजन सिंह की सीधी टक्कर पूर्व केंद्रीय मंत्री सी पी ठाकुर के बेटे और वर्तमान राज्यसभा सांसद विवेक ठाकुर से है। वहीं राजद ने श्रावण कुमार को यहां से प्रत्याशी बनाया है। अब देखना दिलचस्प होगा की क्या गुंजन सिंह यहां से लोक सभा पहुंच पाते हैं या नहीं।
भूमिहारों के नेता आशुतोष कुमार की
आशुतोष कुमार बिहार के जहानाबाद से निर्दलीय उम्मीदवारी पेश कर रहे हैं। जहानाबाद भूमिहार बहुल इलाकों में से आता है। आशुतोष कुमार ने कुछ दिन पूर्व ही अपने सोशल मीडिया हैंडल से ये एलान किया था की वे जहानाबाद से ही चुनाव लड़ेंगे। कुछ दिन पूर्व ही जहानाबाद के पूर्व सांसद अरुण कुमार भी बसपा में शामिल हो चुके हैं और वो बसपा के ही चुनाव चिन्ह पर चुनावी मैदान में होंगे। इसके अलावा आशुतोष कुमार की सीधी टक्कर जदयू के चंद्रेश्वर प्रसाद चंद्रवंशी तथा महागठबंधन से राजद उम्मीदवार सुरेंद्र प्रसाद से है।